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Srote - January 2022
- जलवायु परिवर्तन सम्मेलन और संकल्प
- जीवाश्म ईंधन सब्सिडी को खत्म करने का संकल्प
- ग्लोबल वार्मिंग को 2 डिग्री से कम रखने का संकल्प
- जलवायु परिवर्तन कोश का सार्थक उपयोग
- लॉकडाउन खुलने पर कार्बन उत्सर्जन में तेज़ी से वृद्धि
- वैज्ञानिकों और विज्ञान लेखकों की भूमिका
- कीटनाशक प्रबंधन विधेयक, 2020
- कृत्रिम बुद्धि करेगी चिम्पैंज़ी की करतूतों की निगरानी
- मच्छर वाहित रोगों से लड़ाई
- कितना खाती है यह व्हेल?
- फफूंद की साजिश
- क्या हम भय की स्थिति पैदा कर रहे हैं?
- क्या प्राचीन भारत में पालतू घोड़े थे
- क्रिप्टोकरेंसी और भारत की अर्थ व्यवस्था - 2
- भूवैज्ञानिक धरोहर और जियो-उद्यान विधेयक
- अफ्रीका के सबसे मशहूर पेड़ की उम्र निर्धारित की गई
Srote - January 2022
- जलवायु परिवर्तन सम्मलेन और संकल्प
- जीवाश्म ईंधन सब्सिडी को खत्म करने का संकल्प
- ग्लोबल वार्मिंग को 2 डिग्री से कम रखने का संकल्प
- जलवायु परिवर्तन कोश का सार्थक उपयोग भारत डोगरा
- लॉकडाउन खुलने पर कार्बन उत्सर्जन में तेज़ी से वृद्धि
- वैज्ञानिकों और विज्ञान लेखकों की भूमिका राघवेंद्र गडगकर
- कीटनाशक प्रबंधन विधेयक 2020 दिलीप कुमार और रेड्डी
- कृत्रिम बुद्धि करेगी चिम्पैंज़ी की करतूतों की निगरानी
- मच्छर वाहित रोगों से लड़ाई डॉ. डी. बालसुब्रमण्यन, चांदनी
- कितना खाती है यह व्हेल?
- फफूंद की साजिश
- क्या हम भय की स्थिति पैदा कर रहे हैं? उमाशंकर, गणेशैया
- क्या प्राचीन भारत में पालतू घोड़े थे? डॉ. डी. बालसुब्रमण्यन
- क्रिप्टोकरेंसी और भारत की अर्थव्यवस्था – 2 सोमेश केलकर
- भूवैज्ञानिक धरोहर और जियो-उद्यान विधेयक डी.एम. बैनर्जी
- अफ्रीका के सबसे मशहूर पेड़ की उम्र निर्धारित की गई