वर्ष 20 अंक 115 - 120
अंक: 115 | |||
ब्लैक विडो | 07 | बालोतरा के बैल और उनके गले... | 46 |
तितलियों के सहारे पौधे की पहचान | 15 | ‘बसना’ एक पाँच हज़ार साल... | 62 |
मनुष्य के कपड़ों की कहानी | 21 | मालती महोदय का यों जाना... | 69 |
हल्का-फुल्का, नज़रें चुराता न्यूट्रिनो | 30 | सातवाँ आदमी | 77 |
कक्षा में कविता | 40 | तेज़ाब से शरीर क्यों जल जाता है? | 97 |
अंक: 116 | |||
आपने लिखा | 04 | सामाजिक विज्ञान के चश्मे से... | 50 |
तितलियों में रोमांस | 09 | गोल-मोल भूगोल | 56 |
सौर-पूर्व कणों का पिटारा | 21 | जनजातीय किशोरों में कुपोषण... | 63 |
जूँ के ज़रिए कपड़े का इतिहास? | 33 | चुड़ैल के लिए खाना | 77 |
बच्चे, किताबें और कुछ अनुभव | 42 | चूहा पालतू जानवर है या जंगली... | 85 |
अंक: 117 | |||
आपने लिखा | 04 | पर्यावरण अध्ययन: एक झलक... | 51 |
मधुमक्खियों की शून्य की समझ | 09 | बस्ती लर्निंग सेंटर में एक बच्चे... | 56 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | 15 | विशुद्ध विज्ञान और व्यावहारिक... | 61 |
हायड्रिला से श्वसन क्रिया का... | 20 | एक मुसलमान माँ के सवाल | 66 |
एल्गोरिदम यानी कलन-विधियों... | 25 | क्लोरीन - भाग 1 | 72 |
हवा कहाँ-कहाँ होती है? | 44 | पक्षी सोते वक्त पेड़ से गिरते... | 84 |
अंक: 118 | |||
इश्कबाज़ जुगनू की वो जलती... | 05 | सीखने की प्रक्रिया में अनुपयोगी... | 59 |
कैसे तय होते हैं पौधों के लिंग? | 13 | पुस्तकालय की ज़रूरत और... | 65 |
मेरी ज्यामिति की कक्षा | 25 | क्लोरीन - भाग 2 | 76 |
पैमाना... अब नहीं रहा बेगाना | 42 | साँप सीधा क्यों नहीं चलता? | 85 |
बच्चों को किताबें पढ़ने के अवसर... | 55 |
अंक: 119 | |||
आपने लिखा | 04 | अपनी ज़मीं से जुड़ी शिक्षा बनाम... | 46 |
मानव इतिहास की कहानी... | 07 | मेरा रोज़नामचा | 51 |
मनी प्लांट | 13 | बाज़ार और बच्चों का सीखना | 58 |
विज्ञान: कुछ परिभाषाएँ, कुछ... | 17 | नवाचार: याद रखने और भुला... | 63 |
ड्रोन से भेजी बांझ मच्छरों की फौज | 30 | बिल्ली चली काम पर | 72 |
नर्मदा घाटी के जीवाश्मों का... | 37 | पेड़ों की इतनी वृद्धि होती है... | 80 |
अंक: 120 | |||
कोशिका की समझ: कुछ बुनियादी... | 07 | रीड अलाउड से पढ़ने की ओर | 54 |
आत्मरक्षा के लिए जीवों की रणनीति | 17 | ज़रूरी है बच्चों से बातचीत | 59 |
स्टीफन हॉकिंग का संक्षिप्त... | 25 | सम्मोहित बाग | 66 |
नोबेल पुरस्कार - 2018 | 37 | संदर्भ इंडेक्स अंक 115-120 | 73 |
चित्रमय पुस्तकों से बच्चों में... | 46 | सिर के बाल जल्दी बढ़ते हैं पर... | 83 |
इंडेक्स देखने का तरीका: छह अंकों में प्रकाशित सामग्री का विषय आधारित वर्गीकरण किया गया है। कई लेखों में एक से ज़्यादा मुद्दे शामिल हैं इसलिए वे लेख एक से ज़्यादा स्थानों पर रखे गए हैं। लेख के शीर्षक और लेखक के नाम के साथ पहले बोल्ड में उस अंक का क्रमांक है जिसमें वह लेख प्रकाशित हुआ है। फुलस्टॉप के बाद उस लेख का पृष्ठ क्रमांक दिया गया है। उदाहरण के लिए लेख ‘हल्का-फुल्का, नज़रें चुराता न्यूट्रिनो’ 115.30 का अर्थ है, यह लेख अंक 115 के पृष्ठ क्रमांक 30 पर है।
भौतिकी (Physics)/खगोलशास्त्र (Astronomy) | ||
हल्का-फुल्का, नज़रें चुराता न्यूट्रिनो | भास बापट | 115.30 |
सौर-पूर्व कणों का पिटारा | आशिमा डोगरा | 116.21 |
हवा कहाँ-कहाँ होती है? | अंकित | 117.44 |
विज्ञान: कुछ परिभाषाएँ, कुछ विचार | वी.वी. रमण | 119.17 |
स्टीफन हॉकिंग का संक्षिप्त इतिहास... | स्टुअर्ट क्लार्क | 120.25 |
नोबेल पुरस्कार - 2018 | कोकिल चौधरी | 120.37 |
रसायनशास्त्र (Chemistry) | ||
हल्का-फुल्का, नज़रें चुराता न्यूट्रिनो | भास बापट | 115.30 |
तेज़ाब से शरीर क्यों जल जाता है? | सवालीराम | 115.97 |
विशुद्ध विज्ञान और व्यावहारिक... | पी. बलराम | 117.61 |
नोबेल पुरस्कार - 2018 | कोकिल चौधरी | 120.37 |
वनस्पतिशास्त्र (Botany) | ||
तितलियों के सहारे पौधे की पहचान | किशोर पंवार | 115.15 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | कालू राम शर्मा | 117.15 |
हायड्रिला से श्वसन क्रिया का प्रदर्शन | किशोर पंवार | 117.20 |
पर्यावरण अध्ययन: एक झलक... | रंजना | 117.51 |
कैसे तय होते हैं पौधों के लिंग? | सुशील जोशी | 118.13 |
मनी प्लांट | सुशील जोशी | 119.13 |
पेड़ों की इतनी वृद्धि होती है लेकिन... | सवालीराम | 119.80 |
कोशिका की समझ: कुछ बुनियादी मसले | कालू राम शर्मा | 120.07 |
प्राणिशास्त्र (Zoology)/माइक्रोबायोलॉजी/सामुदायिक स्वास्थ्य | ||
ब्लैक विडो | विपुल कीर्ति शर्मा | 115.07 |
तितलियों के सहारे पौधे की पहचान | किशोर पंवार | 115.15 |
मनुष्य के कपड़ों की कहानी... | अनिर्बन मित्र | 115.21 |
तितलियों में रोमांस | विपुल कीर्ति शर्मा | 116.09 |
जूँ के ज़रिए कपड़े का इतिहास? | कालू राम शर्मा | 116.33 |
जनजातीय किशोरों में कुपोषण की स्थिति | ए वी रमणी, अरविन्द सरदाना | 116.63 |
चूहा पालतू जानवर है या जंगली... | सवालीराम | 116.85 |
मधुमक्खियों की शून्य की समझ | नेहा सी वी | 117.09 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | कालू राम शर्मा | 117.15 |
पक्षी सोते वक्त पेड़ से गिरते क्यों नहीं... | सवालीराम | 117.84 |
इश्कबाज़ जुगनू की वो जलती-बुझती... | विपुल कीर्ति शर्मा | 118.05 |
साँप सीधा क्यों नहीं चलता? | सवालीराम | 118.85 |
मानव इतिहास की कहानी बैक्टीरिया... | अश्विन साई नारायण सेशासायी | 119.07 |
ड्रोन से भेजी बांझ मच्छरों की फौज | विपुल कीर्ति शर्मा | 119.30 |
अपनी ज़मीं से जुड़ी शिक्षा बनाम... | पियुष त्रिवेदी | 119.46 |
पेड़ों की इतनी वृद्धि होती है लेकिन... | सवालीराम | 119.80 |
कोशिका की समझ: कुछ बुनियादी मसले | कालू राम शर्मा | 120.07 |
आत्मरक्षा के लिए जीवों की रणनीति | पारुल सोनी | 120.17 |
नोबेल पुरस्कार - 2018 | कोकिल चौधरी | 120.37 |
सिर के बाल जल्दी बढ़ते हैं पर... | सवालीराम | 120.83 |
पारिस्थितिकी/जैव-विकास/अनुकूलन/मानव व्यवहार | ||
ब्लैक विडो | विपुल कीर्ति शर्मा | 115.07 |
तितलियों के सहारे पौधे की पहचान | किशोर पंवार | 115.15 |
मनुष्य के कपड़ों की कहानी... | अनिर्बन मित्र | 115.21 |
तितलियों में रोमांस | विपुल कीर्ति शर्मा | 116.09 |
जूँ के ज़रिए कपड़े का इतिहास? | कालू राम शर्मा | 116.33 |
चूहा पालतू जानवर है या जंगली... | सवालीराम | 116.85 |
मधुमक्खियों की शून्य की समझ | नेहा सी वी | 117.09 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | कालू राम शर्मा | 117.15 |
पर्यावरण अध्ययन: एक झलक... | रंजना | 117.51 |
पक्षी सोते वक्त पेड़ से गिरते क्यों नहीं... | सवालीराम | 117.84 |
इश्कबाज़ जुगनू की वो जलती-बुझती... | विपुल कीर्ति शर्मा | 118.05 |
कैसे तय होते हैं पौधों के लिंग? | सुशील जोशी | 118.13 |
साँप सीधा क्यों नहीं चलता? | सवालीराम | 118.85 |
मानव इतिहास की कहानी बैक्टीरिया... | अश्विन साई नारायण सेशासायी | 119.07 |
मनी प्लांट | सुशील जोशी | 119.13 |
विज्ञान: कुछ परिभाषाएँ, कुछ विचार | वी.वी. रमण | 119.17 |
ड्रोन से भेजी बांझ मच्छरों की फौज | विपुल कीर्ति शर्मा | 119.30 |
नर्मदा घाटी के जीवाश्मों का अध्ययन | कालू राम शर्मा | 119.37 |
अपनी ज़मीं से जुड़ी शिक्षा बनाम... | पियुष त्रिवेदी | 119.46 |
पेड़ों की इतनी वृद्धि होती है लेकिन... | सवालीराम | 119.80 |
कोशिका की समझ: कुछ बुनियादी मसले | कालू राम शर्मा | 120.07 |
आत्मरक्षा के लिए जीवों की रणनीति | पारुल सोनी | 120.17 |
नोबेल पुरस्कार - 2018 | कोकिल चौधरी | 120.37 |
गणित | ||
बालोतरा के बैल और उनके गले... | मोहम्मद उमर | 115.46 |
एल्गोरिदम यानी कलन-विधियों... | कॉन्सटेंस कामी | 117.25 |
मेरी ज्यामिति की कक्षा | प्रज्ञा कदम | 118.25 |
पैमाना... अब नहीं रहा बेगाना | मोहम्मद उमर | 118.42 |
समुदाय के साथ काम/इतिहास/भूगोल | ||
‘बसना’ एक पाँच हज़ार साल... | वर्षा | 115.62 |
गोल-मोल भूगोल | जीतेन्द्र ‘जीत’ | 116.56 |
जनजातीय किशोरों में कुपोषण की स्थिति | ए वी रमणी, अरविन्द सरदाना | 116.63 |
बस्ती लर्निंग सेंटर में एक बच्चे... | लक्ष्मी यादव | 117.56 |
बाज़ार और बच्चों का सीखना | रुबीना खान | 119.58 |
रीड अलाउड से पढ़ने की ओर | नीतू यादव | 120.54 |
बच्चों/शिक्षकों के साथ अनुभव | ||
कक्षा में कविता | कमलेश चन्द्र जोशी | 115.40 |
बालोतरा के बैल और उनके गले... | मोहम्मद उमर | 115.46 |
‘बसना’ एक पाँच हज़ार साल... | वर्षा | 115.62 |
बच्चे, किताबें और कुछ अनुभव | पारुल बत्रा | 116.42 |
सामाजिक विज्ञान के चश्मे से... | अंजना त्रिवेदी | 116.50 |
गोल-मोल भूगोल | जीतेन्द्र ‘जीत’ | 116.56 |
जनजातीय किशोरों में कुपोषण की स्थिति | ए वी रमणी, अरविन्द सरदाना | 116.63 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | कालू राम शर्मा | 117.15 |
हायड्रिला से श्वसन क्रिया का प्रदर्शन | किशोर पंवार | 117.20 |
हवा कहाँ-कहाँ होती है? | अंकित | 117.44 |
पर्यावरण अध्ययन: एक झलक... | रंजना | 117.51 |
बस्ती लर्निंग सेंटर में एक बच्चे... | लक्ष्मी यादव | 117.56 |
मेरी ज्यामिति की कक्षा | प्रज्ञा कदम | 118.25 |
पैमाना... अब नहीं रहा बेगाना | मोहम्मद उमर | 118.42 |
बच्चों को किताबें पढ़ने के अवसर... | कमलेश चन्द्र जोशी | 118.55 |
सीखने की प्रक्रिया में अनुपयोगी... | स्वतंत्र रिछारिया | 118.59 |
पुस्तकालय की ज़रूरत और... | नीतू सिंह | 118.65 |
नर्मदा घाटी के जीवाश्मों का अध्ययन | कालू राम शर्मा | 119.37 |
अपनी ज़मीं से जुड़ी शिक्षा बनाम... | पियुष त्रिवेदी | 119.46 |
मेरा रोज़नामचा | मुकेश मालवीय | 119.51 |
बाज़ार और बच्चों का सीखना | रुबीना खान | 119.58 |
कोशिका की समझ: कुछ बुनियादी मसले | कालू राम शर्मा | 120.07 |
चित्रमय पुस्तकों से बच्चों में कलात्मक... | कमलेश चन्द्र जोशी | 120.46 |
रीड अलाउड से पढ़ने की ओर | नीतू यादव | 120.54 |
ज़रूरी है बच्चों से बातचीत | जय शंकर चौबे | 120.59 |
समीक्षा/इंटरव्यू/संस्मरण | ||
मालती महोदय का यों जाना... | कालू राम शर्मा | 115.69 |
सौर-पूर्व कणों का पिटारा | आशिमा डोगरा | 116.21 |
एक मुसलमान माँ के सवाल | फराह फारुकी | 117.66 |
बच्चों को किताबें पढ़ने के अवसर... | कमलेश चन्द्र जोशी | 118.55 |
मेरा रोज़नामचा | मुकेश मालवीय | 119.51 |
भाषा शिक्षण/बाल साहित्य | ||
कक्षा में कविता | कमलेश चन्द्र जोशी | 115.40 |
बच्चे, किताबें और कुछ अनुभव | पारुल बत्रा | 116.42 |
बच्चों को किताबें पढ़ने के अवसर... | कमलेश चन्द्र जोशी | 118.55 |
पुस्तकालय की ज़रूरत और... | नीतू सिंह | 118.65 |
मेरा रोज़नामचा | मुकेश मालवीय | 119.51 |
नवाचार: याद रखने और भुला देने... | सी.एन. सुब्रह्मण्यम | 119.63 |
चित्रमय पुस्तकों से बच्चों में कलात्मक... | कमलेश चन्द्र जोशी | 120.46 |
रीड अलाउड से पढ़ने की ओर | नीतू यादव | 120.54 |
ज़रूरी है बच्चों से बातचीत | जय शंकर चौबे | 120.59 |
शिक्षा शास्त्र/विज्ञान शिक्षा | ||
कक्षा में कविता | कमलेश चन्द्र जोशी | 115.40 |
बालोतरा के बैल और उनके गले... | मोहम्मद उमर | 115.46 |
‘बसना’ एक पाँच हज़ार साल... | वर्षा | 115.62 |
मालती महोदय का यों जाना... | कालू राम शर्मा | 115.69 |
बच्चे, किताबें और कुछ अनुभव | पारुल बत्रा | 116.42 |
गोल-मोल भूगोल | जीतेन्द्र ‘जीत’ | 116.56 |
गाय, पीपल और तुलसी में श्वसन | कालू राम शर्मा | 117.15 |
हायड्रिला से श्वसन क्रिया का प्रदर्शन | किशोर पंवार | 117.20 |
एल्गोरिदम यानी कलन-विधियों... | कॉन्सटेंस कामी | 117.25 |
हवा कहाँ-कहाँ होती है? | अंकित | 117.44 |
पर्यावरण अध्ययन: एक झलक... | रंजना | 117.51 |
बस्ती लर्निंग सेंटर में एक बच्चे... | लक्ष्मी यादव | 117.56 |
विशुद्ध विज्ञान और व्यावहारिक... | पी. बलराम | 117.61 |
मेरी ज्यामिति की कक्षा | प्रज्ञा कदम | 118.25 |
पैमाना... अब नहीं रहा बेगाना | मोहम्मद उमर | 118.42 |
बच्चों को किताबें पढ़ने के अवसर... | कमलेश चन्द्र जोशी | 118.55 |
सीखने की प्रक्रिया में अनुपयोगी... | स्वतंत्र रिछारिया | 118.59 |
पुस्तकालय की ज़रूरत और... | नीतू सिंह | 118.65 |
विज्ञान: कुछ परिभाषाएँ, कुछ विचार | वी.वी. रमण | 119.17 |
ड्रोन से भेजी बांझ मच्छरों की फौज | विपुल कीर्ति शर्मा | 119.30 |
मेरा रोज़नामचा | मुकेश मालवीय | 119.51 |
बाज़ार और बच्चों का सीखना | रुबीना खान | 119.58 |
चित्रमय पुस्तकों से बच्चों में कलात्मक... | कमलेश चन्द्र जोशी | 120.46 |
रीड अलाउड से पढ़ने की ओर | नीतू यादव | 120.54 |
ज़रूरी है बच्चों से बातचीत | जय शंकर चौबे | 120.59 |
कहानी | ||
सातवाँ आदमी | हारुकी मुराकामी | 115.77 |
चुड़ैल के लिए खाना | रिनचिन | 116.77 |
क्लोरीन - भाग 1 | यूहान हार्शटा | 117.72 |
क्लोरीन - भाग 2 | यूहान हार्शटा | 118.76 |
बिल्ली चली काम पर | रिनचिन | 119.72 |
सम्मोहित बाग | इतालो काल्विनो | 120.66 |
सवालीराम | ||
तेज़ाब से शरीर क्यों जल जाता है? | सवालीराम | 115.97 |
चूहा पालतू जानवर है या जंगली... | सवालीराम | 116.85 |
पक्षी सोते वक्त पेड़ से गिरते क्यों नहीं... | सवालीराम | 117.84 |
साँप सीधा क्यों नहीं चलता? | सवालीराम | 118.85 |
पेड़ों की इतनी वृद्धि होती है लेकिन... | सवालीराम | 119.80 |
सिर के बाल जल्दी बढ़ते हैं पर... | सवालीराम | 120.83 |